31 October 2021 08:21 AM
प्रयागराज. शारीरिक संबंध और ब्वाय फ्रेंड पर इलाहाबाद हाई कोर्ट ने केस की सुनवाई में कहाकि, बालिग लड़की की सहमति से यौन संबंध बनाना अपराध नहीं, पर अनैतिक, असैद्धांतिक व भारतीय सामाजिक मूल्यों के खिलाफ है। ब्वाय फ्रेंड पर हाईकोर्ट ने कहा कि लड़की के ब्वाय फ्रेंड का कर्तव्य था कि वह सह अभियुक्तों से गैंग रेप होने से उसकी रक्षा करता। यदि पीड़िता याची की प्रेमिका है तो उसी क्षण उसका कर्तव्य हो जाता है कि वह उसकी मान, मर्यादा व सम्मान की रक्षा करें। नाराज हाईकोर्ट ने कहा याची के आचरण की निंदा करते हुए कहाकि, वह ब्वाय फ्रेंड कहलाने लायक नहीं है।
बेल से हाई कोर्ट का इनकार :- एक केस की सुनवाई करते हुए इलाहाबाद हाई कोर्ट के सम्मानित न्यायमूर्ति राहुल चतुर्वेदी ने कहाकि, याची अपने सामने प्रेमिका का गैंग रेप होते चुपचाप देखता रहा। उसने लेश मात्र भी विरोध नहीं किया। याची के इस कृत्य को देखते हुए न्यायमूर्ति राहुल चतुर्वेदी ने प्रेमी मित्र राजू को बेल देने से इनकार कर दिया। कहाकि, यह निश्चित रूप से नहीं कहा जा सकता कि सह अभियुक्तों से उसका कोई सरोकार नहीं रहा है।
गैंग रेप में चार पर एफआईआर :- मामला यह है कि, 20 फरवरी 2021 को कौशांबी के अकिल सराय थाने में चार आरोपियों पर पाक्सो एक्ट व भारतीय दंड संहिता की धाराओं में एफआइआर दर्ज कराई गई। पीड़िता के अनुसार, 19 फरवरी को वह सिलाई केंद्र गई थी। आठ बजे सुबह उसने ब्वाय फ्रेंड राजू को फोन नदी किनारे मिलने को बुलाया। कुछ देर में तीन अन्य लोग वहां आए। उन्होंने राजू को मारा-पीटा। मोबाइल फोन छीन लिया और पीड़िता के साथ गैंग रेप किया। इस केस की सुनवाई करते हुए हाईकोर्ट ने जमानत देने से इंकार कर दिया।
प्रयागराज. शारीरिक संबंध और ब्वाय फ्रेंड पर इलाहाबाद हाई कोर्ट ने केस की सुनवाई में कहाकि, बालिग लड़की की सहमति से यौन संबंध बनाना अपराध नहीं, पर अनैतिक, असैद्धांतिक व भारतीय सामाजिक मूल्यों के खिलाफ है। ब्वाय फ्रेंड पर हाईकोर्ट ने कहा कि लड़की के ब्वाय फ्रेंड का कर्तव्य था कि वह सह अभियुक्तों से गैंग रेप होने से उसकी रक्षा करता। यदि पीड़िता याची की प्रेमिका है तो उसी क्षण उसका कर्तव्य हो जाता है कि वह उसकी मान, मर्यादा व सम्मान की रक्षा करें। नाराज हाईकोर्ट ने कहा याची के आचरण की निंदा करते हुए कहाकि, वह ब्वाय फ्रेंड कहलाने लायक नहीं है।
बेल से हाई कोर्ट का इनकार :- एक केस की सुनवाई करते हुए इलाहाबाद हाई कोर्ट के सम्मानित न्यायमूर्ति राहुल चतुर्वेदी ने कहाकि, याची अपने सामने प्रेमिका का गैंग रेप होते चुपचाप देखता रहा। उसने लेश मात्र भी विरोध नहीं किया। याची के इस कृत्य को देखते हुए न्यायमूर्ति राहुल चतुर्वेदी ने प्रेमी मित्र राजू को बेल देने से इनकार कर दिया। कहाकि, यह निश्चित रूप से नहीं कहा जा सकता कि सह अभियुक्तों से उसका कोई सरोकार नहीं रहा है।
गैंग रेप में चार पर एफआईआर :- मामला यह है कि, 20 फरवरी 2021 को कौशांबी के अकिल सराय थाने में चार आरोपियों पर पाक्सो एक्ट व भारतीय दंड संहिता की धाराओं में एफआइआर दर्ज कराई गई। पीड़िता के अनुसार, 19 फरवरी को वह सिलाई केंद्र गई थी। आठ बजे सुबह उसने ब्वाय फ्रेंड राजू को फोन नदी किनारे मिलने को बुलाया। कुछ देर में तीन अन्य लोग वहां आए। उन्होंने राजू को मारा-पीटा। मोबाइल फोन छीन लिया और पीड़िता के साथ गैंग रेप किया। इस केस की सुनवाई करते हुए हाईकोर्ट ने जमानत देने से इंकार कर दिया।
RELATED ARTICLES
18 September 2025 12:36 PM
01 August 2023 06:23 PM
© Copyright 2021-2025, All Rights Reserved by Jogsanjog Times| Designed by amoadvisor.com